Spotnow News: ईरान ने इजराइल पर मंगलवार रात 180 बैलिस्टिक मिसाइल से हमला कर दिया। इसमें से ज्यादातर को इजराइल की डिफेंस सिस्टम ने ख़तम कर दिया। इजराइली डिफेंस सर्विसेज के मुताबिक हमले में किसी के गंभीर रूप से घायल होने की सुचना नहीं मिली है। वीडियोज से पता चलता है कि ईरान ने मोसाद हेडक्वार्टर, नेवातिम एयरबेस और तेल नोफ एयरबेस को निशाना बनाकर हमला किया था।
हमले के बाद ईरान की प्रतिक्रिया
इजराइल पर हमले के बाद ईरान ने कहा कि अगर इजराइल ने इसका जवाब दिया तो वे फिर से पलटवार करेंगे। ईरानी राष्ट्रपति मसूद पजशकियान ने कहा कि हमने इजराइल की आक्रामकता का जवाब दिया है। यह ईरान के हितों और नागरिकों की रक्षा के लिए बहुत जरूरी था।
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ईरान के हमले के बाद प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने कहा कि ईरान को भारी इस हमले की भारी कीमत चुकानी पड़ेगी। इजराइली डिफेंस सर्विसेज ने कहा है कि हम ईरान को छोड़ने वाले नहीं है। इन हमलों का जवाब जरूर दिया जाएगा। इसके लिए वक्त और जगह हम खुद चुनेंगे।
इजराइल पर हमले के बाद अमेरिका में राष्ट्रपति जो बाइडेन और उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने नेशनल सिक्योरिटी टीम के साथ बैठक की। इसके बाद बाइडेन ने सेना से कहा है कि वो ईरानी हमलों से इजराइल की रक्षा करे। बाइडेन ने मुस्लिम देशों को चेताया है कि वे इजरायल पर हमला न करे। अमेरिका पूरी तरह इजरायल के साथ खड़ा है। ईरान ने जो मिसाइलें दागी उन्हें इजरायल ने हवा में ही नष्ट कर दिया।
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युद्ध से वैश्विक अर्थव्यवस्था पर असर
हाल ही में इजरायल और ईरान के बीच तनाव बढ़ गया है, जिससे मध्य पूर्व में स्थिति और भी गंभीर हो गई है। इस संघर्ष ने न केवल क्षेत्रीय सुरक्षा को प्रभावित किया है, बल्कि वैश्विक अर्थव्यवस्था पर भी असर डालने की आशंका बढ़ा दी है।
तेल की कीमतों में वृद्धि
ईरान एक प्रमुख तेल उत्पादक देश है, और संघर्ष की स्थिति में तेल की आपूर्ति में बाधा आने की संभावना है। इससे अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कच्चे तेल की कीमतें तेजी से बढ़ सकती हैं, जो वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।
यदि तेल की कीमतें बढ़ती हैं, तो इससे महंगाई दर में वृद्धि होने की संभावना है, जो आम जनता पर आर्थिक बोझ डाल सकती है। भारत और ईरान के बीच व्यापारिक संबंधों में भी खटास आ सकती है, जिससे दोनों देशों के आर्थिक हित प्रभावित हो सकते हैं।
भारत सरकार ने अपने नागरिकों के लिए विशेष सुरक्षा उपायों की योजना बनाई है, ताकि वे संकट के समय में सुरक्षित रह सकें। भारतीय दूतावास स्थिति की लगातार निगरानी कर रहा है। यदि स्थिति और गंभीर होती है, तो भारत सरकार नागरिकों की निकासी के लिए विशेष उड़ानों की व्यवस्था कर सकती है। इसके लिए सभी आवश्यक तैयारियां की जा रही हैं।
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